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ITR -इनकम टैक्स रिफंड में देरी: जानिए क्या है वजह और क्या करें?

इस साल (AY 2025-26) में कई टैक्सपेयर्स को इनकम टैक्स रिफंड मिलने में देरी का सामना करना पड़ रहा है. इसके पीछे कई कारण बताए जा रहे हैं, जिनमें से एक मुख्य कारण  ITR में असामान्य रूप से अधिक रिफंड क्लेम करना भी है. आयकर विभाग ने इस बात पर जोर दिया है कि अगर किसी ITR में अनियमितताएं या असामान्य पैटर्न मिलते हैं, तो रिफंड को रोककर जांच की जाएगी.

देरी के मुख्य कारण:

  • ITR फाइलिंग में देर: इस बार, आकलन वर्ष 2025-26 के लिए ITR फाइलिंग की प्रक्रिया देर से शुरू हुई क्योंकि ITR यूटिलिटीज देर से जारी की गईं.
  • डेटा मिसमैच: ITR में दी गई जानकारी और फॉर्म 26AS या AIS में उपलब्ध जानकारी में अंतर होने पर रिफंड में देरी हो सकती है.
  • अधूरी वेरिफिकेशन: ITR फाइल करने के बाद, e-verification या ITR-V को CPC बेंगलुरु भेजना जरूरी होता है. अगर यह प्रक्रिया पूरी नहीं होती है, तो रिफंड में देरी हो सकती है.
  • गलत बैंक डिटेल्स: अगर ITR में दिए गए बैंक खाते की जानकारी (जैसे खाता नंबर या IFSC कोड) गलत है, तो रिफंड अटक सकता है.
  • पिछले साल की बकाया देनदारियां: यदि आपके पिछले आकलन वर्ष से संबंधित कोई बकाया देनदारी है, तो आयकर विभाग आपके वर्तमान वर्ष के रिफंड को समायोजित कर सकता है.
  • अतिरिक्त जानकारी की आवश्यकता: यदि आयकर विभाग को आपके ITR को सत्यापित करने के लिए अतिरिक्त जानकारी या स्पष्टीकरण की आवश्यकता है, तो रिफंड में देरी हो सकती है.
  • ITR की जांच (Scrutiny): कुछ ITRs को आयकर विभाग द्वारा जांच के लिए चुना जाता है, जिससे रिफंड में देरी हो सकती है.

क्या करें अगर आपका रिफंड अटका है?

  1. रिफंड स्टेटस चेक करें: सबसे पहले, आयकर विभाग की वेबसाइट incometax.gov.in पर लॉग इन करके अपने रिफंड का स्टेटस चेक करें. आप NSDL वेबसाइट पर भी पैन और आकलन वर्ष की जानकारी दर्ज करके स्टेटस देख सकते हैं.
  2. त्रुटियां सुधारें: यदि आपको पता चलता है कि ITR में कोई त्रुटि है, तो उसे सेक्शन 154 के तहत सुधारें या एक संशोधित ITR फाइल करें.
  3. नोटिस का जवाब दें: यदि आपको आयकर विभाग से कोई नोटिस प्राप्त होता है, तो उसका तुरंत जवाब दें.
  4. शिकायत दर्ज करें: यदि आपको रिफंड में असामान्य रूप से देरी हो रही है और कोई अन्य समस्या नहीं है, तो आप आयकर विभाग के पोर्टल पर “e-Nivaran” सुविधा के माध्यम से शिकायत दर्ज कर सकते हैं.
  5. अधिकारियों से संपर्क करें: यदि शिकायत का समाधान नहीं होता है, तो आप CPC बेंगलुरु या अपने न्यायिक निर्धारण अधिकारी से संपर्क कर सकते हैं.

महत्वपूर्ण:  www.financialexpress.com के अनुसार आयकर विभाग आपके ITR की जांच कर सकता है, यदि आपका दावा असामान्य रूप से अधिक है. 

याद रखें: यदि आप एक ईमानदार टैक्सपेयर हैं और आपने सभी जानकारी सही ढंग से भरी है, तो घबराने की जरूरत नहीं है. बस, ऊपर बताए गए चरणों का पालन करें और अपने रिफंड को प्राप्त करने के लिए धैर्य रखें.

Ankur singh

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